दोस्तों हम आपको बता दे की पारसी धर्म का कब्रिस्तान को ही “टावर ऑफ सायलेंस” ( Tower Of Silence ) कहते है। आगे आप ऐसी बातो को जानोगे जिससे की आप हैरान भी हो सकते है | चलिए जानते है |
Tower Of Silence ke bare जैसे की जब लोग मर जाते है तो धर्म के अनुसार लोगो को या तो दफनाया जाता है या फिर जलाया जाता है | लेकिन पारसी धर्म में ऐसा नहीं होता है वहा जब लोगो की मृत्यु हो जाती है तो | उन्हें दफनाया या जलाया नहीं जता है इसे बल्कि एक ऐसी जगह पर ले जाया जाता है जिसे “टावर ऑफ सायलेंस” ( Tower Of Silence ) या “दखमा” भी कहा जाता है। ज्यादातर यह गोलाकार एवं ऊंचा स्थान होता है जहां मृत शरीर को मांसाहारी पक्षियों जैसे -चील , कौआ , गिद्ध आदि के खाने के लिए रखा जाता है। यह पारसी धर्म की अंतिम संस्कार की एक क्रिया है। मरने के बाद लोगो को दफनाने या जलाने की बजह उन्हें मांसाहारी पक्षियों जैसे -चील , कौआ , गिद्ध को खाने के लिए वही रखा दिया जाता है |